यह एक बेहतरीन संग्रहालय है, जो संस्कृति के साथ-साथ आदिवासी समूहों के मानव भुगोल से संबंधित है। आदिवासी अनुसंधान संस्थान और संग्रहालय झारखंड के सभी 32 आदिवासी समूहों के इतिहास पर प्रकाश डालता है, जिनमें असुर, खोंडा और मुंडा शामिल हैं। संग्रहालय में पत्थर की मूर्तियों और टेराकोटा की कलाकृतियों का एक दुर्लभ संग्रह है। संग्रहालय में प्रदर्शित विभिन्न हथियार और मानव-जातिय विज्ञान सम्बंधी वस्तुएं, राज्य में निवास करने वाले आदिवासी समुदायों के उनके इतिहास और जीवन शैली से आगंतुकों को परिचित कराती हैं। आदिवासी अध्ययन करने वाले छत्रों को सीखने का एक महत्वपूर्ण केंद्र संग्रहालय है। यह मोराबादी स्टेडियम के ठीक बगल में है और सुबह 10.30 से शाम 5 बजे के बीच खुला रहता है।